एयर इंडिया को खस्ता हालत से उबारने के लिए केंद्र सरकार ने एयर इंडिया के विनिवेश को सैद्धांतिक मंजूरी दे दी है। सरकार ने उसकी हिस्सेदारी को बेचने का फैसला लिया है। नागरिक उड्डयन मंत्रालय ने पहले ही केंद्र से इसके विनिवेश को मंजूरी देने की सिफारिश की थी। समझा जाता है कि टाटा कंपनी एयर इंडिया की हिस्सेदारी खरीद सकती है।
पवन हंस लिमिटेड के कर्मचारियों ने प्रधानमंत्री कार्यालय को पत्र लिखकर कंपनी में सरकार की समूची 51 प्रतिशत हिस्सेदारी के विनिवेश के फैसले पर पुनर्विचार का आग्रह किया है। कर्मचारियों का कहना है कि सरकार का यह निर्णय उनके लिये चौंकाने वाला है। पवन हंस लिमिटेड मुनाफा कमाने वाला उपक्रम है।
देश की सबसे बड़ी सरकारी तेल कंपनी इंडियन ऑयल कॉर्पोरेशन (आईओसीएल) की 10 प्रतिशत हिस्सेदारी सोमवार को बेचकर सरकार ने 9500 करोड़ रुपये जुटाने का फैसला किया है।
अक्टूबर में नए रूप में पेश होने वाले सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रमों के एक्सचेंज ट्रेडेड फंड में अब कर्मचारी भविष्य निधि और एनपीएस के धन का भी कुछ हिस्सा लगाया जा सकेगा। सरकार ने इसके जरिये 69 हजार 500 करोड़ रुपये का विनिवेश लक्ष्य रखा है। ईटीएफ एक तरह की प्रतिभूति होती है जो किसी सूचकांक, उपभोक्ता जिंस अथवा सूचकांक कोष की तरह एक साथ रखी गई संपत्तियों का कोष होता है लेकिन इसकी शेयर बाजार में स्टॉक की तरह खरीद फरोख्त होती है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में राष्ट्रीय लोकतांत्रिक गठबंधन (एनडीए) के एक साल पूरे होने से पहले ही कई मोर्चों पर किरकिरी झेलनी पड़ रही है जिसमें सबसे बड़ा मुद्दा बढ़ती महंगाई और निवेशकों का बढ़ता मोहभंग रहा है। ऐसे में मोदी कैबिनेट ने कुछ ऐसे अहम फैसलों पर मुहर लगाई है जिसकी भारतीय जनता पार्टी अरसे से आलोचना करती आ रही थी।