श्रीनगर से 15 किलोमीटर दूर पंपोर में श्रीनगर-जम्मू हाईवे पर स्थित इंटरप्रेन्योरशिप डेवलपमेंट इंस्टीट्यूट (ईडीआई) की इमारत में छिपे आतंकियों को 52 घंटे तक चली कार्रवाई में मार गिराया गया है, लेकिन इस घटना से सुरक्षा चौकसी में खामियां भी सामने आई हैं। खुफिया विभाग के द्वारा राज्य प्रशासन को सतर्क किए जाने के बावजूद सुरक्षा बलों को चौकस नहीं किया गया। नतीजा यह कि झेलम नदी पार कर घुसे आतंकी आराम से इस परित्यक्त सरकारी इमारत में घुस बैठे। उनका इरादा इस इमारत से कुछ ही दूरी पर स्थित सेना के 15 कोर के मुख्यालय और सीमा सुरक्षा बल के शिविर पर हमला करने का था।
जम्मू-कश्मीर सरकार ने बुधवार को कहा कि झेलम नदी में जलस्तर अब घट रहा है। इससे पहले संगम और राम मुंशी बाग इलाके में इस नदी का जलस्तर बाढ़ के स्तर को छू गया था। एक आधिकारिक प्रवक्ता ने कहा, संगम और राम मुंशी बाग इलाके में पानी का स्तर बाढ़ के स्तर को छूने के बाद से झेलम नदी में जल स्तर निरंतर कम हो रहा है।
कश्मीर घाटी में पिछले 24 घंटों में बारिश नहीं होने से बाढ का खतरा कम हो गया है और झेलम नदी के जलस्तर में गिरावट आई है। नदी में पानी बाढ़ के स्तर से नीचे बह रहा है। एक पुलिस अधिकारी ने बताया कि दक्षिण कश्मीर के संगम में झेलम का जलस्तर 16.45 फुट है जो कि 24 घंटे पहले के 22.80 फुट के जलस्तर की तुलना में छह फुट कम है। उन्होंने बताया कि शहर के राममुंशी बाग में भी जलस्तर में डेढ फुट से अधिक की गिरावट आई है और जलस्तर के दिन में और गिरने की उम्मीद है। हालांकि आसमान में बादल छाए हुए हैं लेकिन पिछले 24 घंटों में ताजा बारिश नहीं हुई है जिससे शहर में बाढ़ आने की चिंता कम हुई है।
भारी बारिश के कारण श्रीनगर और दक्षिण कश्मीर के संगम इलाके में सोमवार को झेलम नदी में जलस्तर खतरे के निशान से ऊपर पहुंचने के कारण आपात उपायों के तहत एनडीआरएफ की 100 सुरक्षाकर्मियों की दो टीमों को जम्मू कश्मीर के लिए रवाना किया गया है। इस बीच राज्य सरकार ने कश्मीर में बाढ़ की घोषणा कर दी है। कश्मीर घाटी पिछले वर्ष भीषण बाढ़ झेल चुकी है।