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Search Result : "ऊंची ब्याज दर"

मैट पर कर संधि लाभ चाहती हैं विदेशी कंपनियां

मैट पर कर संधि लाभ चाहती हैं विदेशी कंपनियां

कर विशेषज्ञों ने कहा है कि वित्त मंत्री अरूण जेटली की विदेशी कंपनियों की कुछ आय पर मैट में छूट की घोषणा से विदेशी कंपनियों को राहत जरूर मिली है लेकिन सरकार को पिछले बकाये के लिए कर संधि लाभों के बारे में स्थिति स्पष्ट करनी चाहिए।
धांधली के चलते राष्‍ट्रीय इस्‍पात को 156 करोड़ का नुकसान: कैग

धांधली के चलते राष्‍ट्रीय इस्‍पात को 156 करोड़ का नुकसान: कैग

कैग ने अपनी रिपोर्ट में कहा, सीवीसी दिशानिर्देशों के उलट ठेकेदारों को ब्याज-मुक्त संग्रहण अग्रिम का भुगतान किए जाने से उन्हें अनुचित लाभ पहुंचाया गया और कंपनी को 156.02 करोड़ रुपये का नुकसान हुआ।
रिजर्व बैंक ने नीतिगत दरें अपरिवर्तित रखीं

रिजर्व बैंक ने नीतिगत दरें अपरिवर्तित रखीं

भारतीय रिजर्व बैंक के गवर्नर रघुराम राजन ने मंगलवार को नीतिगत ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं किया। वह देखना चाहते हैं कि खाद्य मुद्रास्फीति पर हाल की बेमौसम बारिश का क्या असर रहता है। साथ ही वह यह भी चाहते हैं कि रेपो दर में पिछली कटौतियों का फायदा बैंक उपभोक्ताओं को दें।
अखिलेश सरकार करेगी निवेशकों के हित की सुरक्षा

अखिलेश सरकार करेगी निवेशकों के हित की सुरक्षा

उत्तर प्रदेश सरकार ने आज एक विधेयक के मसौदे को मंजूरी दे दी जो अच्छे ब्याज सहित रकम लौटाने का वायदा कर निवेश आकर्षित करने वाली वित्तीय संस्थानों में निवेशकों के हितों की सुरक्षा सुनिश्चित करता है।
इंटरनेट से दूर हैं विकासशील देश- फेसबुक

इंटरनेट से दूर हैं विकासशील देश- फेसबुक

फेसबुक की एक रिपोर्ट के अनुसार ऊंची लागत, खराब उपलब्धता और उचित उपकरणों के चलते विकासशील देशों में ज्यादातर लोग अभी भी इंटरनेट का इस्तेमाल करने में पीछे हैं।
कंपनियों ने लगायी कोयला खदानों की ऊंची बोली

कंपनियों ने लगायी कोयला खदानों की ऊंची बोली

कोयला खदानों की ‌नीलामी का दौर जारी है और अब तक वेदांता ग्रुप की कंपनी बाल्को ने चोटिया ब्लॉक के लिए 3,025 रुपये प्रति टन की सबसे ऊंची बोली लगाई है। कंपनियां बढ़-चढ़कर बोली लगा रही है ब्लॉक की नीलामी से सरकार को 1.86 लाख करोड़ रुपये से ज्यादा की आय होने का अनुमान है।
आरबीआई की नीतिगत ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं, एसएलआर आधा प्रतिशत घटा

आरबीआई की नीतिगत ब्याज दर में कोई बदलाव नहीं, एसएलआर आधा प्रतिशत घटा

राजकोषीय और मुद्रास्फीति सेहत अपरिवर्तित रहने के कारण ब्याज दरों को कम करने की जरूरत नहीं, रेपो दर को भी 7.75 प्रतिशत पर ही बरकरार रखा
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