गुजरात की धरती पर गुरुवार को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और जापान के पीएम शिंजो आबे ने देश की पहली बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट का शिलान्यास किया। करीब 1 लाख करोड़ रुपये के इस प्रोजेक्ट के पूरा होने के बारे में सरकार ने कहा कि इसे निर्धारित समय से एक साल पहले यानी 2022 में पूरा कर लिया जाएगा।
बुलेट ट्रेन प्रोजेक्ट को लेकर विपक्षी पार्टियों ने पीएम नरेंद्र मोदी की आलोचना करनी शुरु कर दी है। ना सिर्फ विपक्षी पार्टियों ने ही बल्कि भाजपा की सहयोगी पार्टी शिवसेना भी मोदी सरकार के खिलाफ अब मैदान में उतर गई है। इस प्रोजेक्ट को लेकर विरोध करने वाली पार्टियों ने कई सवाल भी खड़े किए हैं।
पहले चरण में, लखनऊ मेट्रो 8.5 किमी के रूट पर अमौसी एअरपोर्ट से चारबाग़ रेलवे स्टेशन के बीच दौड़ेगी। ये सेक्शन मेट्रो के 23 किमी लम्बे नार्थ-साउथ गलियारे का प्रथम हिस्सा है, जिसमें करीब 6,800 करोड़ रुपये खर्च होने का अनुमान है।
टाटा ग्रुप की कंपनी टाटा पावर ने 4000 मेगावॉट वाले मूंदड़ा पावर प्रोजेक्ट को सिर्फ 1 रुपये में बेचने का प्रस्ताव रखा है। टाटा पावर ने यह प्रस्ताव गुजरात जैसे राज्यों के सामने रखा है, जो उससे बिजली खरीदते हैं।
यूपी में सरकार बदलते ही इसका असर भी दिखाई देने लगा है। यमुना एक्सप्रेस-वे औद्योगिक विकास प्राधिकरण ने यमुना एक्सप्रेस-वे पर बनने वाले छह बिल्डरों के 17 प्रोजेक्टों को रद्द कर दिया है। इनमें गौर सन्स, अजनारा, जेपी ग्रुप और ओरिस इंफ्रा जैसे बिल्डर्स के प्रोजेक्ट शामिल हैं। इससे खासी संख्या में निवेशकों में घबराहट और आशंका पैदा हो गई है।