जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग में हुए आतंकी हमले के बाद भी अमरनाथ यात्रा नहीं टाली गई और कड़ी सुरक्षा के बीच आज सुबह 3289 यात्रियों का जत्था रवाना हुआ। हमले के बाद भी श्रद्धालुओं में बाबा बर्फानी के दर्शन को लेकर उत्साह कम नहीं हुआ है।
जम्मू-कश्मीर के अनंतनाग में अमरनाथ यात्रियों पर हुए आतंकी हमले ने पूरे देश को झकझोर दिया है। इस हमले में 7 यात्रियों की मौत हो गई, जोकि गुजरात से थे। इस बीच गुजरात पाटीदार आंदोलन का नेतृत्व7 करने वाले युवा नेता हार्दिक पटेल ने भी हमले की निंदा करते हुए इसे साजिश करार दिया है।
अनंतनाग में अमरनाथ यात्रा के दौरान आतंकी हमले के विरोध में आज नेशनल कांफ्रेंस, कांग्रेस, विहिप और जेकेएनपीपी सहित कई राजनीतिक दलों ने जम्मू बंद का आह्वान किया है।
कांग्रेस उपाध्यक्ष राहुल गांधी ने चीनी राजदूत के साथ मुलाकात को स्वीकार करते हुए कहा है कि मैंने चीनी राजदूत के साथ-साथ भूटान के राजदूत और पूर्व एनएसए शिव शंकर मेनन से भी मुलाकात की थी। इसके साथ ही उन्होंने सरकार पर हमला बोलते हुए पीएम मोदी और चीनी राष्ट्रपति की अहमदाबाद में झूला झूलते हुए फोटों शेयर की और कहा 'यह मैं नहीं हूं"। इसके साथ ही उन्होंने पिछले दिनों तीन केंद्रीय मंत्रियों की चीन यात्रा पर भी सवाल उठाएं।
राष्ट्रपति चुनाव के लिए विपक्ष की तरफ से मीरा कुमार के नाम की घोषणा करने के बाद बिहार के सीएम नीतीश ने कांग्रेस पर पलटवार करते हुए कहा था कि 'बिहार की बेटी' को हार के लिए क्यों चुना गया। उन्होंने कहा था कि संप्रग सरकार के कार्यकाल में दो बार अवसर आए, तो उस समय क्यों नहीं उन्हें उम्मीदवार बनाया।
लखनऊ के अलीगंज इलाके में शनिवार रात रायबरेली की रहने वाली गैंगरेप पीड़िता पर किसी ने तेजाब फेंक दिया। इससे उसके चेहरे का दाहिना हिस्सा और कंधा बुरी तरह झुलस गए। पीड़िता को ट्रॉमा सेंटर में भर्ती कराया गया है। महिला पर नौ साल में यह पांचवां हमला है। इससे पहले 23 मार्च को उसे ट्रेन में तेजाब पिलाने की कोशिश की गई थी। महिला एक कैफे में काम करती है जिसे एसिड अटैक सर्वाइवर महिलाएं चलाती हैं। तेजाब की घटना सामने आने के बाद सीएम योगी आदित्यनाथ ने इस महिला से मुलाकात की तथा हर मुमकिन मदद देने का भरोसा दिया। साथ ही एक लाख रुपए का चेक भी दिया।
'आवारा भीड़ के खतरे' नामक शीर्षक के अपने निबंध में हिन्दी साहित्य जगत के मूर्धन्य निबंधकार हरिशंकर परसाई जी लिखते हैं, "दिशाहीन, बेकार, हताश, नकार वादी और विध्वंस वादी युवकों की यह भीड़ खतरनाक होती। इसका उपयोग खतरनाक विचारधारा वाले व्यक्ति या समूह कर सकते हैं। इसी भीड़ का उपयोग नेपोलियन, हिटलर और मुसोलिनी जैसे लोगों ने किया था।"