रेलवे ने इंटीग्रेटेड मोबाइल एप रेल सारथी लांच किया है। इस मौके पर रेलमंत्री सुरेश प्रभु ने कहा कि यात्रियों की सभी सुविधाओं और शिकायतों के लिए ये एप काफी मददगार साबित होगा। साथ ही रेल मंत्री ने विदेशी पर्यटकों के लिए 365 दिन पहले ट्रेन टिकट बुक कराने की घोषणा की।
केंद्र की नरेंद्र मोदी सरकार ने देश के सबसे बड़े 23 रेलवे स्टेशनों को नीलाम करने की तैयारी कर ली है। बताया गया है कि पब्लिक प्राइवेट पार्टनरशिप (पीपीपी) के तहत 28 जून को इनकी नीलामी होगी।
नक्सलियों ने 29 मई को झारखंड में बंद का आह्वान किया है। इस दौरान नक्सलियों ने हजारीबाग स्टेशन के पास पटरी को उड़ा दिया। एक बोलेरो गाड़ी को भी नक्सलियों ने आग के हवाले कर दिया।
दूरदराज के इलाकों में संपर्क मुहैया कराने के लक्ष्य के साथ रेलवे करीब 500 स्टेशनों पर वाईफाई हॉट स्पॉट बूथ स्थापित करेगी ताकि लोगों को विभिन्न सरकारी योजनाओं समेत ऑनलाइन सेवाओं का लाभ उठाने में मदद मिल सके।
भारत में रेल यात्रा करना एक कठिनाई भरा सबब है। टिकटों की मारामारी, कालाबाजारी से रेलयात्रियों को काफी समय से जूझना पड़ रहा है। मीडिया की माने तो अब जल्दी ही आपको रेल टिकट के लिए स्टेशन के बुकिंग काउंटर पर लंबी कतारों में नहीं लगना होगा। साथ ही आपको टिकट के लिए एजेंटों को भी मनमाना पैसा देने की जरूरत नहीं है। रेलवे आपके लिए ऐसी योजना लेकर आया जिसके बाद आप आसानी से अपना टिकट ले सकते हैं जी हां जल्द ही आप एटीएम से अपना टिकट ले सकेंगे।
गतिमान एक्सप्रेस की सफल शुरुआत के बाद रेलवे ने दिल्ली-हावड़ा और दिल्ली-मुंबई रूटों पर यात्रा की अवधि कम करने की दिशा में बहुत बड़ा कदम उठाते हुए इन रूटों पर ट्रेनों की रफ्तार बढ़ाकर 160 किलोमीटर प्रति घंटा करने की याजना बनाई है जिसकी अनुमानित लागत लगभग 10,000 करोड़ रुपये की बताई जा रही है।
केंद्र की मोदी सरकार और उसके सक्रिय रेल मंत्री सुरेश प्रभु रेलवेे को फायदा नहीं पहुंचा पा रहे हैं। रेलवे को तरक्की पर लाना तो दूर की बात प्रभुु के कार्यकाल में रेलवे की वित्तीय हालत लगातार खराब हो रही है। ताजा आंकड़ों पर नजर डालेंंगे तो आपको आश्चर्यजनक परिणाम मिलेंंगे। हाल ही में रेलवे में किराया भी बढ़ा है इसके बाद भी रेलवे को नुकसान हुआ है।
देश को खुले में शौच से मुक्त बनाने के प्रयास के बीच आए एक शोध में कहा गया है कि ट्रेनों में बायोडाइजेस्टर शौचालय लगाने के जटिल कार्य की सफलता रेलवे को स्वच्छ बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकती है। गांंधी शांति प्रतिष्ठान द्वारा हाल में प्रकाशित किताब जल थल मल के अनुसार, रेल की पटरी पर शौच निस्तारण को लेकर न्यायालय अक्सर अधिकारियों को फटकार लगाता है। लेकिन समाज में फैली विषमताओं के चलते निकट भविष्य में हर किसी को शौचालय मुहैया होना नामुमकिन है।