![विनोद मेहता का लखनवी अंदाज](https://outlookhindi-assets.s3.ap-south-1.amazonaws.com/public/uploads/article/gallery/b2ebe957c4efdbd9d5c89bb633f8e9bb.jpg)
विनोद मेहता का लखनवी अंदाज
गिरिलाल जैन के सुस्त युग के ठीक पहले शुरू होने वाले और अर्णब के स्वच्छंद युग में समाप्त होने वाले अपने कॅरियर में विनोद मेहता ने उल्लेखनीय कामयाबी पाई वह भारत की अंग्रेजी पत्रकारिता को एक हलकापन देने के साथ-साथ उसमें गंभीरता भी लाए।