साल 2002 में गुजरात के नरोदा गांव में हुए दंगों के केस की सुनवाई कर रही एसआईटी की विशेष अदालत ने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को बचाव पक्ष (माया कोडनानी) के गवाह के तौर पर पेश होने के लिए समन भेजा है।
केन्द्र का कहना है, “सवाल यह है कि ऐसी परिस्थिति में अदालत किन साक्ष्यों को आधार बनाएगी, क्योंकि पति और पत्नी के बीच यौन संबंध का कोई अंतिम साक्ष्य नहीं हो सकता।”