भारतीय उद्योगपति गौतम अडानी की कंपनी को ऑस्ट्रेलिया में मिली कोयला खनन की मंजूरी वहां की एक अदालत ने रद्द कर दी है। करीब 16.5 अरब डॉलर की यह खनन परियोजना पर्यावरण संबंधी विवादों में बुरी तरह फंसी है।
हमेशा नई पीढ़ी को प्रेरणा देने वाले पूर्व राष्ट्रपति डॉ. एपीजे अब्दुल कलाम को पूरा देश सलाम कर रहा है। उनके सम्मान में तरह-तरह के अभियान शुरू हो चुके हैं। कोई महात्मा गांधी की तरह उनकी तस्वीर वाले रुपये के नोट छापने की मांग कर रहा है तो कुछ लोग औरंगजेब रोड का नाम बदलकर कलाम के नाम पर रखने की वकालत कर रहे हैं। सोशल मीडिया पर उनकी याद में एक पेड़ लगाने के लिए भी एक ऑनलाइन कैंपेन शुरू किया गया है। केंद्र सरकार पहले ही राष्ट्रीय आविष्कार मिशन का नाम कलाम के नाम पर रखने का ऐलान कर चुकी है। लेकिन जिस तरह पूरे देश में मिसाइल मैन और जनता के राष्ट्रपति के प्रति सम्मान की लहर दौड़ रही है, आने वाले दिनों में कलाम के नाम पर अभियानों की बाढ़ आ सकती है।
कुछ ही महीनों में होने वोले बिहार विधानसभा के चुनावों की तैयारी में लगे नीतीश कुमार को पटना हाइकोर्ट ने झटका दे दिया है। पिछले 9 जून को शुरू हुआ बढ़ चला बिहार अभियान राज्य के आगामी चुनाव से पहले नीतीश कुमार की जनता तक पहुंच बनाने के प्रयास के रूप में देखा जा रहा है।
'बहुत हुआ जुमलों का वार, फिर एक बार नीतीश कुमार’, 'आगे बढ़ता रहे बिहार, फिर एक बार नीतीश कुमार’ कुछ ऐसे ही नारे लिखे पोस्टरों से बिहार की राजधानी पटना अटा पड़ा है। पटना की सडक़ों पर बड़े-बड़े होर्डिंग देखकर ऐसा लगता है मानों राज्य में और किसी सियासी दल का कोई वजूद नहीं है। राजनीतिक दलों के पार्टी कार्यालयों को छोड़ दें तो चौराहों या सार्वजनिक स्थलों पर दूसरे दलों के होर्डिंग न के बराबर दिखेंगे। यहां तक कि सडक़ों पर चल रहे ऑटो रिक्शा पर भी मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की मुस्कुराती तस्वीरों वाले पोस्टर चिपके मिलेंगे।
राष्ट्रपति भवन में चाहे और बहुत कुछ हो मगर सफाई जरा कम है। हाल ही में जारी स्वच्छता अभियान रेटिंग में राष्ट्रपति भवन पिछड़ गया है। राष्ट्रपति भवन को हैदराबाद हाउस, विज्ञान भवन और जवाहरलाल नेहरू भवन ने पछाड़ा है।
डायपर्स, सैनिटेरी नैपकीन और कॉन्डम आदि जैसे कचरे को खुले में फेंक देने वालों के खिलाफ सरकार कार्रवाई करने के मूढ़ में है। पर्यावरण मंत्रालय ने सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट पर ड्राफ्ट नियमों को अपनी वेबसाइट पर अपलोड किया है और 31 जुलाई तक आम जनता से सुझाव मंगवाए हैं। सॉलिड वेस्ट मैनेजमेंट के लिए बनाए गए नियमों के मसौदे में पहली बार सैनिटेरी वेस्ट की परिभाषा भी तय की गई है। इसमें डायपर्स, सैनिटेरी नैपकीन और कॉन्डम वगैरह का जिक्र करके बताया गया है कि इनका निपटारा कैसे करना है।
ग्रीनपीस इंडिया ने दावा किया कि उसके अंतरराष्ट्रीय स्टाफ के एक सदस्य को वैध दस्तावेज होने के बावजूद भारत में प्रवेश की इजाजत नहीं मिली। एनजीओ के अनुसार, ग्रीनपीस इंटरनेशनल के एक सदस्य एरन गैरी ब्लाक यहां के कर्मचारियों के साथ बैठक के लिए शनिवार को सिडनी से विमान से चले। वह आस्ट्रेलिया के पासपोर्ट पर सफर कर रहे थे। लेकिन उन्हें भारत में प्रवेश की अनुमति नहीं दी गई।
आयकर विभाग ने कड़े शब्दों में अपने अधिकारियों से कहा है कि कर चोरों के खिलाफ अब सिर्फ छापेमारी की कार्रवाई से काम नहीं चलेगा बल्कि उन्हें लक्ष्य करते हुए सघन तलाशी अभियान चलाया जाएगा।