गोरक्षा को देश के अस्तित्व और अस्मिता का विषय बताते हुए भाजपा नेता एवं राज्यसभा सदस्य सुब्रमण्यम स्वामी ने आज कहा कि गोहत्या पर रोक का संवैधानिक प्रावधान होने के बाद भी आजादी के बाद से इसे क्रियान्वित नहीं किया गया और अब ऐसा वक्त आ गया है कि गोहत्या पर संपूर्ण पाबंदी लगाया जाए और हमें इसका पूरा भरोसा है।
भारतीय जनता पार्टी के सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने केंद्र सरकार से पूर्व प्रधानमंत्री नरसिम्हा राव को भारत रत्न दिए जाने की मांग की है। उन्होंने राव के काम को बेमिसाल बताते हुए आरोप लगाया कि कांग्रेस पार्टी और पूर्व की सरकारों ने राव के साथ न्याय नहीं किया।
योग गुरू रामदेव के करीबी सहयोगी बालकृष्ण 100 सबसे अमीर भारतीयों की फॉर्व्स सूची में शामिल हो गए हैं। उनके पास पतंजलि आयुर्वेद में 97 प्रतिशत हिस्सेदारी है और उससे उनकी हैसियत 2.5 अरब डॉलर की हो गयी है। फॉर्व्स की इस 100 सबसे अमीर भारतीयों की सूची में बालकृष्ण का 48वां स्थान है।
बहुजन समाज पार्टी (बसपा) सुप्रीमो मायावती ने पार्टी का दामन छोड़कर भाजपा में गए स्वामी प्रसाद मौर्य की आज की रैली को फ्लॉप बताते हुए कहा कि भाजपा को खुद ही पछतावा हो रहा होगा कि खोदा पहाड़ और निकली चुहिया। इस रैली में भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह भी मौजूद थे। माना जा रहा है कि इस रैली के जरिये मौर्य अपनी ताकत दिखाना चाह रहे थे।
सहारनपुर में हुई बसपा की रैली को अभी एक माह भी नहीं हुआ है और दूसरी रैली का फरमान आ गया है। बसपा सुप्रीमो लखनऊ में बड़ी रैली करने जा रही हैं जिसके लिए उम्मीदवारों को सौ-सौ बसें लेकर आने का टारगेट दिया गया है।
सुब्रमण्यम स्वामी कब किस के खिलाफ बोल बैंठे, किसी को नहीं पता होता। ऐसा ही नजारा तब देखने को मिला, जब राज्यसभा सांसद स्वामी ने जम्मू-कश्मीर की पीडीपी-बीजेपी गठबंधन को ही फेल करार दे दिया। स्वामी ने कहा कि जम्मू-कश्मीर की सरकार को बर्खास्त कर देना चाहिए और सूबे में राष्ट्रपति शासन लगाया जाना चाहिए।
अपने बयानों से भारतीय जनता पार्टी के लिए मुश्किले पैदा करने वाले पार्टी के सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने एक बार फिर जम्मू-कश्मीर की मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती पर निशाना साधा है। स्वामी ने इस बार मुफ्ती की तुलना कुत्ते के पूंछ से की है।
भाजपा के वरिष्ठ नेता और सांसद सुब्रह्मण्यम स्वामी ने कहा है कि दिल्ली के मुख्यमंत्री अरविंद केजरीवाल नक्सलाइट हैं। हर तरह की नीति का विरोध करना उनका काम है। उनसे किसी भी तरह की उम्मीद करना बेमानी है। स्वामी ब्रह्मकुमारीज संस्था के एक कार्यक्रम में शामिल होने माउंटआबू आए थे।