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मर रहे उद्योगों में जान फूंकेगा ‘मुस्लिम चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री’

मर रहे उद्योगों में जान फूंकेगा ‘मुस्लिम चैंबर्स ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री’

हस्तकला क्षेत्र में भारतीय मुसलमानों का अपना विशेष स्थान है लेकिन वक्त के साथ-साथ शहरीकरण समेत अनेक वजहों के चलते मुसलमान हस्तकला और कुटीर उद्योगों से किनारा कर रहे हैं। इन परंपरागत उद्योगों को जिंदा रखने और मुसलमानों में विभिन्न व्यापारिक गतिविधियों को दिशा देने के लिए ‘दि मुस्लिम चैंबर ऑफ कॉमर्स एंड इंडस्ट्री (एमसीसीआई) स्थापना की गई है। इसका मुख्य उद्देश्य भारतीय मुसलमानों की व्यापारिक गतिविधियों विशेष रूप से परंपरागत कला संबंधी लघु उद्योगों को मजबूत करना है।
ऑस्कर पुरस्कार : अकादमी की सदस्य बनेंगी शर्मिला टैगोर और दीपा मेहता

ऑस्कर पुरस्कार : अकादमी की सदस्य बनेंगी शर्मिला टैगोर और दीपा मेहता

जानी-मानी भारतीय अभिनेत्री शर्मिला टैगोर, स्लमडॉग मिलेनियर की अभिनेत्री फ्रीडा पिंटो और निर्देशक दीपा मेहता भारतीय मूल की उन हस्तियों में शुमार हैं जिन्हें प्रतिष्ठित अकेडमी ऑफ मोशन पिक्चर आर्ट्स एंड साइंसेस ने अपना सदस्य बनने के लिए आमंत्रिात किया है।
नई पीढ़ी को रमजान की रूह के करीब ला रहे हैं मोबाइल ऐप्स

नई पीढ़ी को रमजान की रूह के करीब ला रहे हैं मोबाइल ऐप्स

रमजान के पाक महीने में हाईटेक युवा पीढ़ी के रोजेदारों के लिए मोबाइल टेक्नोलॉजी वरदान साबित हो रही है। मोबाइल एप्लीकेशंस ने उर्दू और अरबी पठन-पाठन के धुंधलाते माहौल की वजह से दीन की बारीकियों से लगभग महरूम हो चुकी नई पीढ़ी को रमजान के फायदों से रूबरू कराने का अच्छा जरिया मुहैया कराया है।
कोर्ट का षडयंत्र से इनकार, गुलबर्ग सोसायटी में जाफरी ने गोली चलाई तो भीड़ भड़क गई

कोर्ट का षडयंत्र से इनकार, गुलबर्ग सोसायटी में जाफरी ने गोली चलाई तो भीड़ भड़क गई

एसआईटी की विशेष अदालत ने 2002 के गुजरात दंगों के दौरान गुलबर्ग सोसायटी में हुए नरसंहार में षडयंत्र के किसी भी पहलू से इनकार करते हुए कहा कि कांग्रेस के पूर्व सांसद एहसान जाफरी द्वारा चलाई गई गोलियों ने भीड़ को उकसाया और वह गुस्सा हो गई, नतीजन इतने बड़े पैमाने पर हत्‍याएं हुईं। अदालत ने हालांकि कहा कि गोलीबारी के कारण भीड़ की इस करतूत को माफ नहीं किया जा सकता है।
गुलबर्ग सोसायटी कांड में 11 दोषी मृत्युपर्यंत जेल में रहेंगे

गुलबर्ग सोसायटी कांड में 11 दोषी मृत्युपर्यंत जेल में रहेंगे

वर्ष 2002 में गोधरा कांड के बाद गुजरात में भड़के दंगों के दौरान गुलबर्ग सोसायटी में पूर्व कांग्रेस सांसद अहसान जाफरी समेत 69 लोगों को मौत के घाट उतारने के आरोप में एसआईटी की विशेष अदालत ने 11 दोषियों को मृत्यु तक आजीवन कारावास की सजा सुनाई है।
सभी दोषियों को उम्र कैद दी जानी चाहिए थी: जकिया

सभी दोषियों को उम्र कैद दी जानी चाहिए थी: जकिया

गुलबर्ग सोसायटी नरसंहार मामले में अदालत द्वारा सुनाए गए फैसले पर असंतोष जाहिर करते हुए, इस हत्याकांड में मारे गए कांग्रेस के पूर्व सांसद अहसान जाफरी की पत्नी जकिया जाफरी ने आज कहा कि सभी दोषियों को उम्र कैद की सजा दी जानी चाहिए थी।
गुजरात का गुलबर्ग मामला : दोषियों को सजा 17 जून को सुनाई जाएगी

गुजरात का गुलबर्ग मामला : दोषियों को सजा 17 जून को सुनाई जाएगी

विशेष एसआईटी अदालत ने सोमवार को कहा कि वह गुलबर्ग सोसायटी नरसंहार मामले के 24 दोषियों को सजा शुक्रवार 17 जून को सुनाएगी। गुजरात में वर्ष 2002 में गोधरा दंगों के दौरान हुए गुलबर्ग सोसायटी नरसंहार मामले में कांग्रेस के पूर्व सांसद एहसन जाफरी सहित 69 व्यक्ति मारे गए थे।
वरिष्ठ पत्रकार इंदर मल्होत्रा नहीं रहे

वरिष्ठ पत्रकार इंदर मल्होत्रा नहीं रहे

वरिष्ठ पत्रकार इंदर मल्होत्रा का 86 साल की उम्र में दिल्ली में निधन हो गया। मल्होत्रा कई दिनों से बीमार चल रहे थे और दिल्ली के एक अस्पताल में भर्ती थे।
गुजरात दंगा : गुलबर्ग सोसायटी हत्‍याकांड साजिश नहीं, भाजपा नेता सहित 36 बेगुनाह

गुजरात दंगा : गुलबर्ग सोसायटी हत्‍याकांड साजिश नहीं, भाजपा नेता सहित 36 बेगुनाह

गुजरात दंगों के गुलबर्ग सोसायटी हत्याकांड पर विशेष अदालत ने गुरुवार को फैसला सुनाते हुए 24 लोगों को दोषी ठहराया है। अदालत ने मामले में 36 लोगों को बेगुनाह माना है। कोर्ट ने जिन 36 लोगों को बरी किया है उनमें एक पुलिस इंस्पेक्टर और भाजपा पार्षद भी शामिल है। अदालत ने कहा कि 34 आरोपियों को सबूतों की कमी की वजह से बरी किया गया है। अदालत ने कहा कि यह घटनाक्रम साजिश के तहत नहीं हुआ। मामले में सजा 6 जून को मुकर्रर की जाएगी।
आधा न्‍याय मिला और वो भी चौदह साल में, ऊपरी अदालत जाऊंगी

आधा न्‍याय मिला और वो भी चौदह साल में, ऊपरी अदालत जाऊंगी

गुजरात दंगों के गुलबर्ग सोसाइटी हत्‍याकांड मामले में विशेष अदालत के फैसले पर दंगों की पीड़िता जाकिया जाफरी आहत हैं। उन्‍होंने इस पर गहरा असंतोष जाहिर किया है। जाफरी ने कहा कि अदालत का फैसला एक तरह से आधा न्याय है। जिसेे मिलने में 14 साल लग गए।
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