महान बल्लेबाज सचिन तेंदुलकर को कुमार संगकारा की सर्वकालिक एकादश सूची में जगह नहीं मिली है जबकि श्रीलंका के इस पूर्व क्रिकेट कप्तान ने अपनी टीम में राहुल द्रविड़ के रूप में एकमात्र भारतीय को चुना है।
पूर्व आल इंग्लैंड चैंपियन प्रकाश पादुकोण ने गुरुवार को मुंबई में कहा कि रियो ओलंपिक में भारत बैडमिंटन में साइना नेहवाल, पीवी सिंधु और के. श्रीकांत से पदक की उम्मीद की जा सकती है लेकिन इसके लिये उन्हें प्रतियोगिता के दौरान अपने खेल के चरम पर रहना होगा।
राष्ट्रीय नागर विमानन नीति को बुधवार को केंद्रीय मंत्रिामंडल ने मंजूरी दे दी। नई नीति में यात्रियों के फायदे की कई बातें शामिल की गई हैं। मसलन एक घंटे के सफर के लिए एयरलाइंस कंपनियां 2500 रुपये से ज्यादा नहीं वसूल सकेंगी। ज्यादा बुकिंग का हवाला देकर अगर कोई कंपनी यात्री को बोर्डिंग से रोकती है तो उसे 20 हजार का मुआवजा देना होगा।
कपिल शर्मा के कॉमेडी शो कॉमेडी विद कपिल में नर्सों के चरित्र को कथित रूप से नकारात्मक तरीके से दिखाए जाने के खिलाफ नर्सों ने आज राष्ट्रीय स्तर पर धरना दिया और कपिल शर्मा की ओर से माफी मांगे जाने की मांग की।
हरियाणा में सोमवार को भी आरक्षण की मांग को लेकर जाटों का आंदोलन जारी रहा। राज्य में विभिन्न स्थानों पर ऑल इंडिया जाट आरक्षण संघर्ष समिति (एआईजेएएसएस) से जुड़े जाट नेताओं ने दूसरे दिन भी धरना दिया लेकिन उसमें लोगों की उपस्थिति कम ही रही।
क्रिकेट को वैश्विक खेल बनाने की कवायद में भारत के महान क्रिकेटर सचिन तेंदुलकर कल से शुरू हो रही तीन मैचों की पहली आल स्टार्स सीरिज के जरिये पहली बार अमेरिकी सरजमीं पर खेलेंगे। सचिन तेंदुलकर और आस्ट्रेलियाई स्पिनर शेन वार्न आज न्यूयार्क स्टाक एक्सचेंज की ओपनिंग बेल बजाएंगे और दुनिया के सबसे बड़े स्टाक एक्सचेंज में यह रस्म अदा करने वाले वे पहले क्रिकेटर हैं।
उपराष्ट्रपति हामिद अंसारी ने देश में मुसलमानों की पहचान और सुरक्षा की समस्याओं के हल के लिए रणनीतियां बनाने की वकालत करते हुए सरकार से इस दिशा में सकारात्मक कार्रवाई करने तथा सबके विकास के लिए नीति बनाने की मांग की थी। अपने भाषण में उपराष्ट्रपति ने नरेंद्र मोदी के नारे सबका साथ सबका विकास की तारीफ की पर इसमें मुसलमानों को भी वाजिब हक के साथ शामिल करने पर जोर दिया था।
भारत एक गरीब देश है जैसे निबंध रटने वाले बच्चों को अब यह बताना होगा कि भारत गरीब नहीं रह गया है। कारण? बॉलीवुड पर नजर डाल लें तो पता चलेगा कि भारत में इतना अनाप-शनाप पैसा हो गया है कि ‘ऑल इज वेल’ जैसी फिल्म बनाई जा सकती है।