स्वागत, अभिनंदन, जयकार, हर्षनाद- 2017 की अगवानी के लिए। भारत दुनिया भर के देशों में अपनी परंपरा और प्रकृति के प्रति गहरी आस्था रखने वाला राष्ट्र है। युगों-युगों के बदलाव हमने देखे हैं।
पिछले लोकसभा चुनाव के प्रचार के दौरान नरेंद्र मोदी ने टूजी, कोलजी और जीजाजी यानी रॉबर्ट वाड्रा के जमीन घोटालों की खूब चर्चा की थी और इसके कारण लोगों में कांग्रेस के प्रति नाराजगी भी खूब थी। अब वाड्रा को बदला चुकाने का मौका मिला है।
राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी के प्रमुख और पूर्व कृषि मंत्री शरद पवार ने शुक्रवार को कहा कि नोटबंदी के कारण रबी फसल की बुवाई प्रभावित हुई है क्योंकि किसान नकदी की कमी के कारण बेहतर गुणवत्ता के बीज और उर्वरक नहीं खरीद पा रहे हैं। शुरू में किसानों से सरकार के कदम का स्वागत किया था लेकिन बाद में वे नये नोटों की कमी के कारण अप्रसन्न हैं।
कर्नाटक के खनन उद्योग के किंग और पूर्व मंत्री जनार्दन रेड़्डी काला धन को लेकर एक बार फिर विवादों में आ गए हैं। रेड्डी के करीबी एक प्रशासनिक अधिकारी के ड्राइवर ने आत्महत्या कर ली है और अपने सुसाइड नोट में दावा किया है कि उक्त अधिकारी के जरिये रेड्डी ने अपना करोंडों का काला धन सफेद कर लिया है।
कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री राधा मोहन सिंह का कहना है कि नोटबंदी का रबी की बुआई पर कोई असर नहीं पड़ा है और 2 दिसंबर तक के आंकड़े के अनुसार रबी की बुआई के रकबे में पिछले वर्ष की तुलना में अच्छी खासी वृद्धि हुई है। कृषि मंत्री ने कहा कि देश भर में 2 दिसंबर 2016 तक कुल रबी फसल की बुआई की स्थिति पिछले साल के 382.84 लाख हेक्टेयर के मुकाबले 415.53 लाख हेक्टेयर है, जो कि 32.70 लाख हेक्टेयर (8.54%) से अधिक है।
पीएम नरेंद्र मोदी की नोटबंदी अब धीरे धीरे अपना असर दिखाने लगी है। कामगार वर्ग इस कदम से सबसे ज्यादा प्रभावित हुआ है। किसानों और सब्जी उत्पादकों को औने पौने दाम में अपने उत्पाद बेचने पड़ रहे हैं। मजदूरों की रोजी पर भी संकट आन पड़ा है। नोटबंदी से मंडियों में सब्जियों के दाम औंधे मुंह गिर गए हैं।
चुनाव आयोग (ईसी) ने आम आदमी पार्टी (आप) से पंजाब के लिए जारी उसके घोषणा-पत्रों को जमा करने को कहा है, क्योंकि यह राजनीतिक दलों के लिए अनिवार्य है। इन घोषणा-पत्रों में दलितों और किसानों पर पार्टी द्वारा जारी घोषणाएं शामिल हैं।
तेलगूदेशम पार्टी के सांसद एन शिवप्रसाद ने नोटबंदी के फैसले के बाद आम जनता को होने वाली समस्याओं को उजागर करने के लिए अनोखा तरीका अख्तियार किया। मंगलवार को एन शिवप्रसाद संसद में काली सफेद रंग की शर्ट पहनकर आए जिसमें एक तरफ दुखी किसानों की तस्वीर थी तो दूसरी तरफ अमीर लोगों की।
रबी मौसम की बुवाई को लेकर चिंतित सरकार ने राष्ट्रीय कृषि एवं ग्रामीण विकास बैंक :नाबार्ड: से नकदी संकट से जूझ रहे किसानों को 21,000 करोड़ रुपये वितरित करने की अनुमति दी है। आर्थिक मामलों के सचिव शक्तिकांत दास ने बुधवार को यह जानकारी दी।
नोटबंदी के फैसले से परेशान किसानों को बड़ी राहत देते हुए केंद्रीय वित्त मंत्रालय ने कहा है कि इस समय चूंकि बुआई का समय है, इसलिए इसको देखते हुए किसान बीजों की खरीद में पूराने 500 रुपये के नोट का इस्तेमाल कर सकते हैं।