सरकार इस शिकायत की जांच कर रही है कि चीन की एक कंपनी स्टेंट की कीमतों के तय नियमों के झोल का फायदा उठाकर कहीं सरकार की नीति को कमजोर तो नहीं करना चाहती है।
चाइना पाक-इकॉनमिक कॉरिडोर (सीपीईसी) प्रोजेक्ट की पहुंच अब पाकिस्तान के आर्थिक विभागों के साथ शैक्षणिक संस्थानों में भी देखी जा रहा है। इसका अंदाजा पाकिस्तानी छात्रों की चीनी भाषा सीखने की इच्छा और मांग को लेकर लगाया जा सकता है। पाकिस्तानी छात्रों ने दोनों देशों में नौकरी के अवसरों को लेकर चीनी भाषा सीखने की इच्छा जताई है।
पाकिस्तान में चीन द्वारा बनाए जा रहे आर्थिक गलियारे का पूरा मास्टर प्लान अब सामने आ गया है। पाकिस्तान के डॉन अखबार ने इस यह मास्टर प्लान प्रकाशित किया है। अखबार का दावा है कि पाकिस्तान सरकार के पास भी इस परियोजना के मास्टर प्लान के दो वर्जन मौजूद हैं।
भारत के दो जवानों को मारने के बाद उनके शवों के साथ की गई बर्बरता से पूरा देश आक्रोशित है। सेना ने इसका बदला लेते हुए पाक की दो चौकियों और 10 सैनिकों को मार गिराया है। लेकिन पाक हमले में शहीद हुए बीएसएफ हेड कांस्टेबल प्रेम सागर की बेटी ने अपने पिता की शहादत के बदले सरकार से 50 पाक सैनिकों के सिर मांगे हैं।
पाक सुरक्षा बलों द्वारा भारतीय सैनिकों के शवों के साथ की गई बर्बरता पर पूर्व रक्षा मंत्री एके एंटनी ने केंद्र की मोदी सरकार पर हमला बोला है। उन्होंने मांग की है कि सेना को पाकिस्तान पर कार्रवाई के लिए खुली छूट दी जाए।
चीन की सत्तारूढ़ कम्युनिस्ट पार्टी ने पहली बार सार्वजनिक रूप से यह चौंकाने वाला खुलासा किया है कि उसके कुछ अधिकारी तिब्बतियों के 81 वर्षीय सर्वोच्च धार्मिक नेता दलाई लामा को चंदा देकर उनकी मदद कर रहे हैं। सरकारी ग्लोबल टाइम्स में प्रकाशित खबर के अनुसार एक वरिष्ठ अधिकारी ने 14वें दलाई लामा को कथित तौर पर चंदा देने को लेकर पार्टी के कुछ अधिकारियों पर निशाना साधते हुए कहा कि इस तरह का व्यवहार अलगाववाद के खिलाफ पार्टी की लड़ाई को कमजोर करता है।
यह बसपा प्रमुख मायावती के राज में हुआ ऐसा कथित घोटाला है, जिसे लोग पहले दिन से ही घोटाला मानते हैं। लेकिन साबित आज तक नहीं हो पाया। इस मामले में मायावती के साथ-साथ अखिलेश यादव पर भी शिकंजा कसना मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के लिए बड़ी चुनौती साबित हो सकता है।
उत्तर प्रदेश सरकार ने 2010-11 में मायावती शासन के दौरान राज्य की 21 चीनी मिलों की बिक्री में हुए 1100 करोड रुपये के घोटाले की जांच के निर्देश दिये हैं। प्रशासनिक सूत्रों का दावा है कि आवश्यकता पड़ने पर मामले की सीबीआई जांच भी करायी जाएगी।
अमेरिकी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप ने इराक में सैनिकों को भेजने और फिर उन्हें वापस बुलाने के अपने पूर्ववर्ती फैसले पर सवाल उठाया। उन्होंने इस युद्धग्रस्त देश में स्थिरता बनाए रखने के लिए सहयोग देने का आश्वासन दिया।