ग्लोबल बर्डन ऑफ डिजिज प्रोजेक्ट के एक विश्लेषण में चिंताजनक नतीजे सामने आये हैं। इसके अनुसार, 2015 में बाहरी वायु प्रदूषण से सबसे अधिक मौत भारत में हुई है जो चीन से भी अधिक है। इस अध्ययन से पता चलता है कि 1990 से अबतक लगातार भारत में होने वाले असामायिक मौत की संख्या में बढ़ोतरी हुई है। हाल के आंकड़े बताते हैं कि 2015 में भारत में 3283 लोगों की प्रतिदिन असामयिक मौत हुई जबकि इसकी तुलना में चीन में 3233 लोगों की मौत हुई थी।
अमेरिका में भारतीय-अमेरिकी इतिहास बनाते दिख रहे हैं क्योंकि इस समुदाय से रिकॉर्ड संख्या में लोगों के इस बार के आम चुनाव में निर्वाचित होने की पूरी संभावना है। देश की आबादी में करीब एक प्रतिशत इस समुदाय के लोग हैं।
सार्वजनिक प्रसारण संस्था और सरकार के बीच कई मुद्दों पर मतभेद की खबरों के बीच केंद्रीय सूचना एवं प्रसारण मंत्री एम वेंकैया नायडू का कहना है कि पिछले सालों में प्रसार भारती ने जैसा काम किया है उसके कहीं बेहतर इसका प्रदर्शन हो सकता था। केंद्रीय मंत्री ने कहा कि संस्था को सरकार से संबंध सुधारने की जरूरत है।
यूनीसेफ इंडिया और बीबीसी मीडिया एक्शन इंडिया ने मंगलवार को सामाजिक बदलाव के संदेश को समेटे किशोरों पर आधारित एक टी.वी सीरियल का शुभारंभ किया। इस सीरियल के कथानक में किशोरों की समस्याओं और उनके खिलाफ कोशोरों के खड़े होने को बेहद ही रोचक तरीके से पेश किया गया है।
यूपीए सरकार में नियुक्त किए गए प्रसार भारती के सीईओ जवाहर सरकार ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है। उन्होंने खुद रविवार को फेसबुक पर यह जानकारी दी। सरकार ने अपने फेसबुक पेज पर लिखा, भारतीय प्रशासनिक सेवा के 41.5 रोचक साल की नौकरी छोड़ने का वक्त आ गया है। सरकार ने भी मेरा इस्तीफा मंजूर कर लिया है। काम बहुत हुआ। अब न सरकारी काम न कोई निजी। अंततः मैं स्वतंत्र हूं और अब सिर्फ किताबें।
पाकिस्तान को निशाने पर लेते हुए भारत ने कहा है कि परमाणु प्रसार की जारी गतिविधियों पर पाकिस्तान की स्पष्ट छाप है और राज्य तथा राज्येतर तत्वों के गठजोड़ के तहत विखंडनीय सामग्री का बेलगाम विस्तार अमन के लिए सबसे बड़ा खतरा है।
भारतीय मूल के अमेरिकी लोग देश की कांग्रेस में अपनी संख्या बढ़ाने के लिए पूरी तरह तैयार हैं क्योंकि नवंबर में होने जा रहे चुनाव में इस समुदाय से महिलाओं सहित ज्यादा उम्मीदवारों के जीतने की संभावना है।
ऑस्ट्रेलिया के विक्टोरिया में अगले महीने होने वाले स्थानीय परिषदों के चुनावों में भारतीय मूल के प्रत्याशी रिकार्ड संख्या में अपनी किस्मत आजमाएंगे। विक्टोरिया में सबसे ज्यादा भारतीय रहते हैं।
भारतीय कंपनियों के निदेशक मंडल में महिलाओं की संख्या पिछले छह साल में दोगुनी हो गई है। क्रेडिट सुइस की रिपोर्ट के अनुसार 2010 में कंपनियों के बोर्ड में महिलाओं की संख्या 5.5 प्रतिशत थी जो 2015 में बढ़कर 11.2 प्रतिशत हो गई।