बिहार विधानसभा चुनावों में पार्टी के अभियान की शुरुआत करते हुए कांग्रेस अध्यक्ष सोनिया गांधी ने बिहार में रैली के दौरान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर जमकर निशाना साधा। सोनिया ने कहा कि गलत नीतियों के कारण देश में सांप्रदायिकता की घटनाएं बढ़ी हैंँ। बिहार को दिया गया पैकेज केवल छलावा है।
भारतीय जनता पार्टी ने बिहार विधानसभा चुनाव में घोषणापत्र जारी करने के बजाय विजन के जरिए बिहार के विकास के लिए उठाए जाने वाले कदमों की चर्चा की। विजन डाक्यूमेंट में भाजपा ने मेक इन इंडिया की तर्ज पर मेक इन बिहार व डिजिटल इंडिया पर जोर दिया है। इसके साथ ही लैपटाप, स्कूटी व रंगीन टीवी बांटने पर भी इस डाक्यूमेंट में जोर दिया गया है। लेकिन यह विजन क्या बिहार की जनता को लुभा पाएगी इसको लेकर राजनीतिक विश्लेषक संशय ही जताते हैं।
बिहार चुनाव में समाजवादी पार्टी और पैंथर्स पार्टी दुविधा में पड़ गई हैं जबकि झारखंड मुक्ति मोर्चा और शिवसेना की मुश्किल भी चुनाव चिह्न को लेकर ही है। दरअसल, चुनाव आयोग ने सपा और पैंथर्स पार्टी को साइकिल पर ही चुनाव लड़ने की अनुमति दी है जबकि झामुमो और शिवसेना तीर-कमान लेकर एक-दूसरे के आमने-सामने टकरा रही है।
बिहार विधानसभा चुनाव में भारतीय जनता पार्टी की अंदरुनी कलह अब खुलकर सामने आ गई है। जिससे निपटने के लिए पार्टी अध्यक्ष अमित शाह अब एक सप्ताह तक पटना में रहकर कलह को दूर करेंगे। भाजपा अध्यक्ष के साथ पटना में डेरा डालने वालों में कई मंत्री और प्रदेश के प्रभारी, सह-प्रभारी शामिल हैं। मंगलवार को शाह अपनी टीम के साथ पटना पहुंच गए।
भाजपा सांसद राजकुमार सिंह ने बिहार चुनाव में सीट बंटवारे को लेकर अपनी ही पार्टी और खासकर सुशील मोदी पर निशाना साधा है। उन्होंने पार्टी नेतृत्व पर राज्य में पैसे लेकर टिकट देने का आरोप लगाया है। राजकुमार सिंह ने कहा कि पार्टी के मौजूदा विधायकों का टिकट काटकर खराब छवि वालों को टिकट दिया जा रहा है, जिससे पार्टी की छवि खराब हो रही है।
भाजपा के आलाकमान को बिहार विधानसभा के चुनाव में प्रचार के लिए बिहारी बाबू के नाम से मशहूर पाटलिपुत्र के अभिनेता पलट सांसद शत्रुघ्न सिन्हां की याद उस समय आई जब वह विदेश में हैं। उनके साथ ही भाजपा ने बिहार के लिए अपने बूढ़े बुजुर्ग मगर पार्टी और सरकार में भी लगातार उपेक्षित महसूस कर रहे नेताओं को भी याद किया है
सीबीआई ने व्यापमं महाघोटाले को अपने हाथ में लेने के बाद पहली बड़ी कार्रवाई करते हुए मध्यप्रदेश एवं उत्तरप्रदेश में इससे जुड़े लोगों के 40 ठिकानों सहित व्यापमं दफ्तर पर छापे की कार्रवाई की है। इस कार्रवाई के बाद एक बार फिर मध्यप्रदेश की राजनीति में व्यापमं सुर्खियों में आ गया है। अगले महीने बिहार में होने वाले विधानसभा चुनावों के पहले व्यापमं मामले में सीबीआई छापे से भाजपा को परेशानी हो सकती है।