बहुजन समाज पार्टी की प्रमुख मायावती ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर निशाना साधते हुए कहा कि उज्जवला योजना उत्तर प्रदेश की जनता के लिए ऊंट के मुंह में जीरा की तरह है। उन्होने कहा कि देश की ऐसी उच्च विकास दर का क्या लाभ जब ना तो देश में लोगों की ग़रीबी दूर हो पा रही है, ना ही बेरोज़गारी घट रही है, महंगाई आसमान पर है और ना ही लोगों को उनकी दिन-प्रतिदिन इस्तेमाल होने वाली बुनियादी ज़रूरत की आवश्यक वस्तु ही सही ढ़ग से मिल पा रही हैं।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने भाजपा सांसदों से कहा है कि वह मुद्रा योजना, एलपीजी कवरेज में वृद्धि, गांवों में बिजली व्यवस्था करने समेत अनेक जनकल्याणकारी योजनाओं का जनता के बीच प्रचार करें।
चुनावी लिहाज से महत्वपूर्ण उत्तर प्रदेश में अपनी स्थिति सुधारने के लिए संघर्ष कर रही कांग्रेस अगले एक पखवाड़े में राज्य के नेतृत्व में बड़ा फेरबदल कर सकती है और मुख्यमंत्री पद के उम्मीदवार के नाम की घोषणा कर सकती है जो संभवत: ब्राम्हण होगा।
केंद्रीय मंत्री कलराज मिश्र ने कांग्रेस पर जोरदार हमला करते हुए कहा है कि कांग्रेस की रिश्वतखोरी की संस्कृति रही है और अगस्ता वेस्टलैंड मामले की जांच के बाद कांग्रेस एक बार फिर बोफोर्स कांड की तरह बेनकाब होगी।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने रविवार को यूपी के बलिया में उज्जवल योजना की शुरुआत करते हुए पूर्ववर्ती सरकारों पर गरीबों के घर के बजाय मतपेटियों को ध्यान में रखकर योजनाएं बनाने का आरोप लगाया। पीएम ने 1 मई को मजदूर दिवस के अवसर पर दुनिया को लेबरर्स यूनाइट दि वर्ल्ड का नारा भी दिया।
प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी जियालों की धरती बलिया में मई दिवस पर महत्वाकांक्षी उज्ज्वला योजना के तहत गरीबों को मुफ्त गैस कनेक्शन वितरित करेंगे। इसे उार प्रदेश विधानसभा के आगामी चुनाव के लिये भाजपा का शंखनाद भी माना जा रहा है।
राष्ट्रीय राजधानी क्षेत्र में प्रदूषण पर काबू पाने के लिए शुरू की गई दिल्ली सरकार की महत्वाकांक्षी सम-विषम योजना की सोमवार को संसद में तीखी आलोचना की गई और सदस्यों ने आरोप लगाया कि इसका मकसद सांसदों को अपमानित करना है।
बाबा साहेब डा. भीमराव अंबेडकर की जयंती पर शुरु हुए केंद्र सरकार के महत्वाकांक्षी योजना 'ग्रामोदय से भारत उदय’ अभियान को लेकर विपक्ष भले ही आलोचना कर रहा हो लेकिन सरकार इस अभियान से उत्साहित है। भाजपा इस अभियान को ग्रामीण इलाकों में अपनी पकड़ मजबूत करने में जुट गई है। जिन राज्यों में भाजपा की सरकार है वहां तो इस अभियान को बड़े ही वृहद स्तर पर चलाया जा रहा है और जहां पार्टी की सरकार नहीं है वहां कार्यकर्ता ही इस अभियान की मॉनीटरिंग कर रहे हैं। तीन चरणों में चले इस अभियान का लक्ष्य गांवों में पंचायती राज व्यवस्था को सुदृढ़ करके, सामाजिक सद्भाव बढ़ाने, ग्रामीण विकास को बढ़ावा देने, किसानों की प्रगति और गरीब लोगों की जीविका के लिए राष्ट्रव्यापी प्रयास है।