जीएसटी के सुचारू कार्यान्वयन के लिए 18 क्षेत्रीय (सेक्टरल) समूहों का गठन किया गया। इस समूह में अर्थव्यवस्था के विभिन्न सेक्टर (क्षेत्रों) के प्रतिनिधित्व के लिए केंद्र और राज्यों के वरिष्ठ अधिकारियों को रखा गया है।
राहुल गांधी ने कांग्रेस में नई जान फूंकने के लिए कई नई योजनाएं बनाई है,जिनका खुलासा उन्होंने छह जून को हुई कांग्रेस वर्किंग कमेटी (सीडब्ल्यूसी) की बैठक में किया। इसके साथ ही एक महत्वपूर्ण बदलाव यह किया गया है कि अब हर दो महीनों में एक बार सीडब्ल्यूसी की बैठक की जाएगी।
मध्य प्रदेश में किसान आंदोलन के दौरान हुई फायरिंग और किसानों के मुद्दों को लेकर प्रधान मंत्री मोदी ने बैठक ली है। सूत्रों के अनुसार देश के कई हिस्सों में किसानों का प्रदर्शन और मंदसौर में हुई फायरिंग पर चर्चा के लिए यह बैठक बुलाई गई। वहीं मध्यप्रदेश में किसान आंदोलन के हालात को लेकर सीएम शिवराज सिंह ने भाजपा अध्यक्ष अमित शाह को फोनकर जानकारी दी है।
जीएसटी को लागू करने की समय सीमा एक जुलाई बहुत दूर नहीं है। एक महीने से भी कम वक्त बचा है, जबकि अभी तक 7 राज्यों ने जीसटी को पारित ही नहीं किया है। इनमें से अधिकतर गैर भाजपा शासित राज्य हैं।
सोने पर तीन फीसदी, टैक्सटाइल्स पर छह फीसदी, पैंकिंग वाला खाद्य उत्पादों पर पांच फीसदी, सोलर पैनल, कृषि मशीनों पर पांच फीसदी, बिस्कुट पर 18 फीसदी और बीडी पर 28 फीसदी व तेंदुपत्ते पर 18 फीसदी टैक्स लगेगा। शनिवार को जीएसटी काउंसिल की बैठक में इन दरों को मंजूरी दे दी गई। इसी के साथ टांजिशन प्रोवजंस व रिटर्न समेत बाकी नियमों को हरी झंडी दे दी गई। सभी राज्य पहली जुलाई से जीएसटी लागू करने पर सहमत हो गए हैं। काउंसिल की अगली बैठक 11 जून को होगी।
साउथ फिल्म इंडस्ट्री के अभिनेता और निर्माता कमल हासन ने एक ओर जहां एक भारत, एक कर (जीएसटी) का समर्थन किया है। वहीं, दूसरी ओर उन्होंने कहा कि जीएसटी बिल फिल्मी बिजनेस को बरबाद कर देगा। इस पर उन्होंने कहा कि अगर ऐसा हुआ तो वह फिल्म इंडस्ट्री छोड़ देंगे।
राज्यसभा सांसद सुब्रमण्यम स्वामी ने गुड्स ऐंड सर्विसेज टैक्स (जीएसटी) को लेकर मोदी सरकार को नसीहत दी है। स्वामी ने इसकी तुलना वॉटरलू के युद्ध से की है। उन्होंने मोदी सरकार को आगाह करते हुए कहा कि अभी के आर्थिक हालात को देखते हुए जीएसटी लागू करना खतरनाक साबित हो सकता है।
जीएसटी पर केंद्र की तैयारियों को लेकर दिल्ली सरकार ने सवाल खड़े किए हैं। दिल्ली सरकार का मानना है कि जीएसटी देश के लिए अहम टैक्स सुधार है लेकिन जल्दबाजी में लागू करने से इसका मकसद विफल हो सकता है।
जीएसटी कुछ समय में लागू होने वाला है। इस बीच पश्चिम बंगाल के वित्तमंत्री अमित मित्रा का कहना है कि जीएसटी को जुलाई में लागू नहीं करना चाहिए। उन्होंने कहा है कि जब तक जीएसटी पर सर्वसम्मति नहीं बन जाती और उससे जुड़ी सभी समस्याओं का समाधान नहीं खोज लिया जाता, इस विधेयक को पश्चिम बंगाल विधानसभा में पेश नहीं किया जाएगा।