दक्षिण कश्मीर के पुलवामा क्षेत्र में त्राल कस्बे के एक गांव में आतंकवादियों ने शनिवार को सुरक्षा बलों पर गोलीबारी की जिसके बाद उनकी धरपकड़ के लिए इलाके की घेराबंदी की गई।
गोरक्षा के नाम पर हमले और तेज होते जा रहे हैं। ग्रेटर नोएडा के सिरसा खदारपुर गांव में गोरक्षा दल के लोगों ने गौ तस्कर समझकर दो लोगों पर जानलेवा हमला कर दिया।
जम्मू-कश्मीर के पुलवामा में सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच देर रात से जारी मुठभेड़ आज दोपहर 12 बजे खत्म हो गई। इस एनकाउंटर में सुरक्षाबलों ने लश्कर के दो आतंकियों को ढेर कर दिया है।
कश्मीर में पुलवामा जिले के ख्रिव में तलाशी अभियान का विरोध कर रहे प्रदर्शनकारियों एवं सुरक्षा बलों के बीच संघर्षों में एक लेक्चरर की मौत हो गई और 18 अन्य लोग घायल हो गए। कश्मीर घाटी में पिछले 41 दिन से कर्फ्यू और प्रतिबंध जारी है।
कश्मीर घाटी में कुछ स्थानों पर हुई हिंसा और झड़प के मद्देनजर सोमवार को भी कर्फ्यू जारी रहा और लगातार तीसरे दिन कोई भी अखबार नहीं आया। वहीं पुलवामा जिले में पथराव कर रही भीड़ के हमले में सत्तारूढ़ पीडीपी के एक विधायक घायल हो गए।
दक्षिण कश्मीर के पुलवामा जिले में शनिवार को दो आतंकवादियों ने केंद्रीय रिजर्व पुलिस बल (सीआरपीएफ) के जवानों को ले जा रही एक बस पर हमला किया, जिसमें आठ जवान शहीद हो गए और 28 अन्य घायल हुए। बाद में सुरक्षा बलों की जवाबी कार्रवाई में दोनों आतंकवादी मारे गए।
एक किशोरी के साथ कथावाचक आसाराम द्वारा कथित दुष्कर्म प्रकरण के गवाह कृपाल सिंह की शाहजहांपुर में बदमाशों की गोली लगने के बाद शनिवार देर रात मौत हो गई। इस मामले में गवाहों पर यह नौवां हमला और दूसरी मौत है।
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी पर अब भारतीय जनता पार्टी के वरिष्ठ नेता यशवंत सिन्हा ने हमला बोला है। उन्होंने पीएम पर पार्टी के बुजुर्ग नेताओं की उपेक्षा करने का आरोप लगाया है। कड़े शब्दों का इस्तेमाल करते हुए सिन्हा ने कहा कि भाजपा के 75 वर्ष से ज्यादा उम्र के नेता 26 मई, 2014 के बाद दिमागी रूप से मृत मान लिए गए थे। सिन्हा ने यह टिप्पणी इस तथ्य के मद्देनजर की कि मोदी के मंत्रिमंडल में 75 वर्ष से ऊपर की उम्र के नेता नहीं शामिल किए गए।
यूपी में एक और पत्रकार पर जनलेवा हमले का मामला सामने आया है। पीलीभीत के एक पत्रकार ने आरोप लगाया है कि उसे कुछ लोगों ने रिवाल्वर की बट से पीटा और बाइक से बांधकर घसीटते रहे।
मई 2011 में मारे जाने से कुछ माह पहले अल कायदा प्रमुख ओसामा बिन लादेन अपना पूरा ध्यान अमेरिका के महत्वपूर्ण क्षेत्रों पर हमला बोलने पर केंद्रित कर रहा था।