भाई की फिल्म को हल्के में लेने का नहीं। भाई जो भी करते हैं कमाल करते हैं। इसलिए भाई ने पकाया भी तो कमाल पकाया है। ईद के मौके पर सई काम तो येई रेगा कि भाई लोग अपने-अपने रिस्तेदारों के घर पे जाके ईद की सिवइयां खाके के गले मिलें और खान बंधुओं को अकेला छोड़ दें।