चीन ने कहा है कि संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद की स्थायी सदस्यता की मांग के लिए जापान, जर्मनी और ब्राजील के साथ भारत का गठबंधन करना एक बहुत बड़ी गलती है।
संयुक्त राष्ट्र सुरक्षा परिषद के विस्तार और सुधारों के मुद्दे पर एक उल्लेखनीय प्रगति हुई है। संयुक्त राष्ट्र महासभा में लिखित दस्तावेजों के आधार पर वार्ता पर सहमति बन गई है जिससे सुरक्षा परिषद में भारत की स्थायी सीट की दावेदारी को बल मिला है।
नामी भारतीय अभिनेता अनुपम खेर को लैंगिक समानता पर संयुक्त राष्ट्र के अभियान के लिए दूत बनाया गया है। महिलाओं और लड़कियों के विरूद्ध असमानता के खिलाफ खड़े होने के लिए पुरूषों और लड़कों से आगे आने का आह्वान करने के लिए अनुपम खेर ने विश्व निकाय से तालमेल किया है।
इस साल यानी 2015 में हम मिलेनियम डेवलेपमेंट गोल्स पाने के करीब हैं। सभी संयुक्त राष्ट्र सदस्य देशों ने ये लक्ष्य अपने लिए तय किए थे और इनमें भारत भी एक है। इन लक्ष्यों में गरीबी, भुखमरी को दूर करना, प्राइमरी शिक्षा सब तक पहुंचाना, लैंगिक समानता के साथ माताओं का स्वास्थ्य भी एक लक्ष्य तय किया गया था। हम इस लक्ष्य को पूरा कर पाएंगे या नहीं इस बहस को एक तरफ रखकर अगर देखें तो जानेगें कि हम इस (माताओं के स्वास्थ्य) लक्ष्य की तरफ अब तक कोई ठोस कदम नहीं उठा पाएं हैं।
सीरिया में रासायनिक हथियारों के हमलों के पीछे साजिशकर्ताओं की पहचान के मकसद से अमेरिका और रूस संयुक्त राष्ट्र प्रस्ताव के मसौदे पर सहमत हो गए हैं ताकि दोषियों पर कानूनी कार्रवाई की जा सके।
संसद में हो रहे व्यवधान को लेकर भारतीय जनता पार्टी ने संसदीय दल की बैठक में कांग्रेस की व्यवधानकारी, नकारात्मक रणनीति पर प्रस्ताव पारित किया है। पार्टी की ओर से कहा गया है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व वाली राजग सरकार के निर्धारित प्रयासों में बाधा उत्पन्न करने के लिए कांग्रेस ऐसा कर रही है।
यदि दफ्तर स्तनपान कराने वाली मांओं के लिहाज से सुविधाजनक कार्यस्थल में बदल जाए तो महिला कर्मचारियों की काम की रफ्तार तेज हो सकती है। एक अध्ययन कहता है कि पर्याप्त मातृत्व लाभ पाने वाली कामकाजी महिलाओं में दफ्तर में अधिक संतुष्टि देखी गई है। चूंकि स्तनपान करने वाले बच्चे कम बीमार पड़ते हैं, ऐसे में मांएं दफ्तर में कम अनुपस्थित रहती हैं।
संसद में गतिरोध कम करने के लिए सोमवार को हुई सर्वदलीय बैठक में ही कांग्रेस ने आक्रामक रूख अख्तियार कर लिया था। बैठक में कांग्रेस की ओर से साफ तौर पर कहा गया कि जब तक सरकार विदेश मंत्री सुषमा स्वराज, मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान और राजस्थान की मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का इस्तीफा नहीं मांगती तब तक संसद में कामकाज नहीं होने दिया जाएगा।
संसद सत्र को सुचारू रूप से चलाने के लिए सोमवार को होने वाली सर्वदलीय बैठक से पहले ही सरकार और कांग्रेस में तकरार देखने को मिली। शनिवार को सत्ता पक्ष और विपक्ष के बीच एक दूसरे को दोषी ठहराने का आरोप मढ़ा जाता रहा। कांग्रेस ने जहां सत्र में गतिरोध के लिए सरकार को जिम्मेवार ठहराया वहीं सरकार की ओर से कहा कि गया कि जब विदेश मंत्री अपना बयान देने के लिए तैयार हैं तो गतिरोध किस बात की है। लेकिन कांग्रेस विदेश मंत्री के इस्तीफे के साथ-साथ राजस्थान और मध्य प्रदेश के मुख्यमंत्रियों का भी इस्तीफा मांग रही है।
गृह मंत्रालय के मुताबिक किसी भी धर्म के लोगों में आतंकी या कट्टरपंथी संगठन की विचारधारा के प्रति सहानुभूति आना एक बड़ी चिंता का विषय है। आईएस के बढ़ते खतरे से निपटने के लिए गृह मंत्रालय ने बैठक बुलाई है।