19 सितंबर 2010 को दिल्ली के जामा मस्जिद के पास हुए बम धमाके के बाद आईएम के दो संदिग्धों ने जामा मस्जिद के पास से गुजर रही विदेशी पर्यटकों से भरी बस को निशाना बनाया था।
यह कैसा तुगलकी फरमान है। लोग कुत्तों के काटने से मर सकते हैं लेकिन कुत्तों को नहीं मार सकते। किसानों की फसलें नष्ट हो सकती हैं लेकिन पशुओं को नहीं बांध सकते। अन्यथा मुकदमा दर्ज हो जाएगा।