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Search Result : "व्यापक विषय"

सरकार संसद में किसी भी विषय पर चर्चा को तैयार : सरकार

सरकार संसद में किसी भी विषय पर चर्चा को तैयार : सरकार

जेएनयू घटनाक्रम एवं कुछ अन्य मुद्दों पर विपक्ष के आरोपों के बीच सरकार ने आज जोर दिया कि वह सदन में किसी भी मुद्दे पर चर्चा कराने को तैयार है और सदन में उठाये गए हर विषय पर उचित प्रतिक्रिया देगी।
पीएम मोदी से चर्चा के बाद बोले ओली, दूर हुईं सारी गलतफहमियां

पीएम मोदी से चर्चा के बाद बोले ओली, दूर हुईं सारी गलतफहमियां

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज अपने नेपाली समकक्ष के पी ओली के साथ व्यापक बातचीत की जिसमें व्यापार और नेपाल के राजनीतिक हालात सहित परस्पर हित के कई मुद्दे शामिल थे। पीएम मोदी और ओली की मुलाकात के बाद दोनों देशों के बीच 9 महत्वपूर्ण समझौतों पर हस्ताक्षर किए गए। बाद में दोनों ही नेताओं ने संयुक्त प्रेस वार्ता में मुलाकात पर संतुष्टी जताई।
डीडीसीए विवाद: कीर्ति ने की सीबीआई जांच की मांग, कांग्रेस को लपेटा

डीडीसीए विवाद: कीर्ति ने की सीबीआई जांच की मांग, कांग्रेस को लपेटा

कीर्ति आजाद ने एसएफआईओ जांच में डीडीसीए में कोई घोटाला नहीं होने की भाजपा की दलील को खारिज करते हुए पूरे मामले की सीबीआई और ईडी से व्यापक जांच कराने की मांग की है। आजाद ने डीडीसीए विवाद में कुछ कांग्रेस नेताओं को भी लपेटा।
जलवायु सम्‍मेलन: ओबामा से हुई पीएम मोदी की मुलाकात

जलवायु सम्‍मेलन: ओबामा से हुई पीएम मोदी की मुलाकात

जलवायु परिवर्तन सम्मेलन में हिस्सा लेने पेरिस गए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने अमेरिकी राष्ट्रपति ओबामा से मुलाकात की। इस मुलाकात से पहले भारतीय पवेलियन का उद्घाटन करते हुए पीएम मोदी ने एक बड़ी वैश्विक चुनौती बताते हुए कहा कि ग्लोबल वार्मिंग को सीमित करने के लिए व्यापक, न्यायसंगत और दीर्घकालिक समझौते पर सहमति के लिए दुनिया को इसे अत्यावश्यक मानते हुए काम करना होगा।
भूमि विधेयक जीवन या मरण का विषय नहीं: मोदी

भूमि विधेयक जीवन या मरण का विषय नहीं: मोदी

केंद्रीय मंत्रिमंडल द्वारा भूमि अधिग्रहण अध्यादेश को तीसरी बार लागू करने के निर्णय के बीच प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शनिवार को कहा कि यह विधेयक उनके लिए जीवन या मरण का विषय नहीं है और वह इस बारे में कोई भी सुझाव स्वीकार करने को तैयार हैं।
‘सफल होने की होड़ और बाजारवाद चिंता का विषय’

‘सफल होने की होड़ और बाजारवाद चिंता का विषय’

लोगों में आज सफल होने की होड़ तेजी से बढ़ने पर चिंता व्यक्त करते हुए जानी मानी लेखिका अलका सरावगी ने कहा कि आज बाजार सबके लिए मूल्यबोध के पैमाने बनने के साथ साधन एवं साध्य बन गया है और ऐसे में लेखकों की जिम्मेदारी काफी बढ़ जाती है।
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